रविवार, 5 जुलाई 2020

चीन की भारत को हिदायत

चीन की भारत को हिदायत



भारत को रणनीतिक गलतफहमी नहीं पालनी चाहिये
प0नि0ब्यूरो
देहरादून। रेडियों चाइना के जरिए चीन ने भारत को हिदायत देते हुए कहा है कि भारत को रणनीतिक गलतफहमी नही पालनी चाहिये। उसका कहना है कि जब चीन और भारत सैन्य और राजनयिक जरियों से संपर्क में हैं, तब भारत ने आर्थिक और व्यापारिक क्षेत्रों में चीन के खिलाफ कदम उठाये हैं। जैसे चीनी मालों पर अधिक कर लगाना, 59 चीनी एप बैन करना और चीनी कारोबारों की भागीदारी प्रतिबंध आदि।
चीन के मुताबिक भारत ने उक्त कदमों से विश्व व्यापार संगठन के नियमों का उल्लंघन किया है और इससे चीनी कारोबारों तथा भारतीय उपभोक्ताओं दोनों को नुकसान पहुंचेगा। हालांकि इस कदम के पीछे रेडियों चीन ने मोदी सरकार की मजबूरियों को भी वजह बताया। उसका कहना है कि गलवान मुठभेड़ के बाद भारत के विरोधी दलों और भूतपूर्व सैन्य अधिकारियों की तरफ से आलोचना हो रही है। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को चीन के खिलाफ कदम उठाने के लिए जबरदस्त दबाव का सामना करना पड़ा लेकिन चीन के साथ युद्ध करना कोई बुद्धिमान विकल्प नहीं है। इसलिए भारत सरकार ने चीन के खिलाफ आर्थिक प्रतिबंध लगाने का रास्ता चुना। दूसरी तरफ भारत को चीन पर अपनी आर्थिक निर्भरता कम करने की उम्मीद है। गत वर्ष भारत ने आरसीईपी में से निकलने का फैसला लिया, जिसके पीछे चीनी उत्पादन वस्तुओं के प्रवेश पर चिन्ता रही। 
वर्ष 2017 से 2019 तक चीन का भारत में निवेश की मात्र दस अरब अमेरिकी डॉलर तक रही। इस वर्ष अप्रैल में भारत ने पड़ोसी देशों के निवेश को विशेष परीसीमन लगाने की घोषणा की। भारत इसी मौके पर आत्मनिर्भरता बढ़ाना चाहता है। 12 मई को भारत ने नयी आर्थिक प्रोत्साहन योजना घोषित की। भारत सरकार की चीन को प्रतिबंध लगाने की योजना का परीणाम सपफल होगा, इसमें संदेह है। भारत के स्थानीय मीडिया को शंका है कि आर्थिक प्रतिबंध का विरोध करने के लिए चीन भी जवाबी कदम उठाएगा जिससे भारतीय अर्थतंत्र पर बुरा प्रभाव पड़ेगा। चीनी विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता ने कहा कि चीन अपने कारोबारों के हितों की रक्षा के लिए आवश्यक कदम उठाएगा।


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