शुक्रवार, 15 मई 2020

2020 के दक्षिण पश्चिम मानसून के आरंभ का पूर्वानुमान

2020 के दक्षिण पश्चिम मानसून के आरंभ का पूर्वानुमान



इस वर्ष केरल के ऊपर मानसून का आरंभ 5 जून को होने का अनुमान है जिसमें 4 दिन कम/अधिक हो सकते हैं।
एजेंसी
नई दिल्ली। भारत मौसम विज्ञान विभाग के चक्रवात चेतावनी प्रभाग ने केरल के ऊपर 2020 के दक्षिण पश्चिम मानसून के आरंभ का पूर्वानुमान प्रस्तुत किया है। मौसम विज्ञान विभाग के अनुमान के अनुसार इस वर्ष केरल के ऊपर मानसून आरंभ होने में 1 जून की आरंभ होने की सामान्य तिथि की तुलना में थोड़ी देर हो सकती है। इस वर्ष केरल के ऊपर मानसून का आरंभ 5 जून को होने का अनुमान है जिसमें 4 दिन कम/अधिक हो सकते हैं।
भारत की मुख्य भूमि के ऊपर दक्षिण-पश्चिम मानसून का आगे बढ़ना केरल के ऊपर मानसून के आरंभ से चिन्हित होता है और यह एक गर्म और शुष्क मौसम से वर्षा के मौसम में रूपांतरण को निरुपित करने वाला एक अहम संकेत है। जैसे-जैसे मानसून उत्तर दिशा में आगे की ओर बढ़ता है, इन क्षेत्रों को चिलचिलाती गर्मी के तापमान से राहत मिलने लगती है। 1 जून को केरल के ऊपर दक्षिण-पश्चिम मानसून का आरंभ होता है जिसमें मानक विचलन लगभग 7 दिनों का होता है। भारत मौसम विज्ञान विभाग आईएमडी 2005 के बाद से केरल के ऊपर मानसून के आरंभ की तिथि के लिए प्रचालनगत पूर्वानुमान जारी करता रहा है। इस उद्वेश्य के लिए 4 दिनों की कमी/बढोतरी की माडल त्रुटि के साथ स्वदेशी रूप से विकसित एक अत्याधुनिक माडल का उपयोग किया जाता है।
माडल में प्रयुक्त 6 प्रेडिक्टर हैं- 1. उत्तर पश्चिम के ऊपर न्यूनतम तापमान, 2. दक्षिण प्रायद्वीप के ऊपर मानसून पूर्व शीर्ष वर्षा, 3. दक्षिण चीन सागर के ऊपर आउटगोईंग लौंग वेव रेडियेशन ओएलआर, 4. दक्षिण पूर्व हिन्द महासागर के ऊपर निम्न ट्रोपोस्फेरिक जोनल हवा, 5. पूर्वी विषवत रेखीय हिन्द महासागर के ऊपर ऊपरी ट्रोपोस्फेरिक जोनल हवा तथा 6. दक्षिण पश्चिम प्रशांत क्षेत्र के ऊपर आउटगोईंग लौंग वेव रेडियेशन ओएलआर।
पिछले 15 वर्षों 2005-2019 के दौरान केरल के ऊपर मानसून के आरंभ होने की तिथि का आईएमडी का प्रचालनगत पूर्वानुमान 2015 को छोड़कर सही साबित होता रहा है। पिछले पांच वर्षों 2015-2019 के लिए पूर्वानुमान सत्यापन नीचे की सारिणी में दिया गया है-
वर्ष वास्तविक आरंभ तिथि पूर्वानुमान आरंभ तिथि
2015 5 जून 30 मई
2016 8 जून 7 जून
2017 30 मई 30 मई
2018 29 मई 29 मई
2019 8 जून 6 जून
2. 2020 के दक्षिण-पश्चिम मानसून तथा अंडमान सागर के ऊपर आगे बढ़ने की स्थिति।
भारतीय मानसून क्षेत्र में आरंभिक मानसून वर्षा दक्षिण अंडमान सागर के ऊपर होती है तथा इसके बाद मानसून की हवायें पूरे बंगाल की खाड़ी में उत्तर-पश्चिम दिशा में बढ़ती हैं। मानसून आरंभ/प्रगति की नई सामान्य तिथियों के अनुसार दक्षिण-पश्चिम मानसून 22 मई के आसपास अंडमान सागर के ऊपर बढ़ती हैं। वर्तमान में दक्षिण पूर्व बंगाल की खाड़ी एवं समीपवर्ती क्षेत्रों में एक सुचिन्हित निम्न दबाव का क्षेत्र बना हुआ है। इसके अगले 12 घंटों के दौरान इसी क्षेत्र में एक दबाव के रूप में संकेंद्रित होने का अनुमान है और फिर तीव्र होकर 16 मई की शाम तक दक्षिण बंगाल की खाड़ी के मध्य भागों में एक चक्रवाती तूफान में सघन हो जाने की संभावना है। इस घटना से जुड़ने के कारण अगले 48 घंटों के दौरान दक्षिण पश्चिम मानसून के अंडमान सागर, अंडमान एवं निकोबार द्वीप समूह एवं दक्षिण पूर्व बंगाल की खाड़ी के कुछ भागों की ओर बढ़ने का अनुमान है। पिछले आंकड़े प्रदर्शित करते हैं कि अंडमान सागर के ऊपर मानसून के बढ़ने की तिथि का कोई भी संबंध न तो केरल के ऊपर मानसून के आरंभ होने की तिथि से है और न ही देश में मौसमी मानसून की वर्षा से है।
3. भारत में दक्षिण पश्चिम मानसून के आरंभ/प्रगति एवं वापसी की नई सामान्य तिथियां-
भारत मौसम विज्ञान विभाग आईएमडी ने जारी एक प्रेस विज्ञप्ति में हाल के आंकड़ों के आधार पर दक्षिण पश्चिम मानसून के आरंभ एवं वापसी की नई सामान्य तिथियों को जारी किया था। आरंभ की सामान्य तिथियों को 1961-2019 के दौरान डाटा के आधार पर संशोधित किया जाता है और वापसी की सामान्य तिथियों को 1971-2019 के दौरान डाटा के आधार पर संशोधित किया जाता है। अब मानसून के आरंभ/प्रगति एवं वापसी की नई सामान्य तिथियों पर विस्तृत रिपोर्ट सीआरएस अनुसंधान रिपोर्ट सं. 3/2020 तैयार है और लिंक ीhttp://www.imdpune.gov.in/Clim&Pred&LRF&New/Reports-html में उपलब्ध है।


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